जयपुर। प्रदेश में लू-तापघात से बचाव, उपचार एवं गर्मी के मौसम में अस्पतालों में आगजनी की घटनाओं से बचाव संबंधी व्यवस्थाओं के लिए गुरूवार को स्वास्थ्य भवन में वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से समीक्षा की गई। बैठक में सभी जोन के संयुक्त निदेशक, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, प्रमुख चिकित्साधिकारी सहित संबंधित जिला स्तरीय अधिकारियों ने भाग लिया। 

निदेशक जनस्वास्थ्य डॉ. रवि प्रकाश माथुर ने बताया कि बैठक में जलवायु परिवर्तन तथा गर्मी जनित बीमारियों से बचाव के संबंध में जिला स्तरीय कार्य योजना बनाने के संबंध में विस्तार से समीक्षा की गई है। जिला स्तरीय अधिकारियों को आमजन को गर्मी जनित बीमारियों से बचाव के लिए सभी आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए गए। साथ ही गर्मी के मौसम में अस्पतालों में आगजनी की घटनाओं को रोकने एवं तात्कालिक उपायों के लिए आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए। उन्होंने बताया कि इस मौसम में अस्पतालों में बिजली एवं पानी की समुचित व्यवस्थाओं के बारे में भी चर्चा कर आवश्यक निर्देश दिए गए हैं। 

डॉ. माथुर ने बताया कि गर्मी के मौसम के दृष्टिगत हीट वेव से प्रभावित रोगियों के इलाज के लिए अस्पतालों में समुचित व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जा रही हैं। इसके लिए हर जिले का एक्शन प्लान बनाकर कार्यवाही की जा रही है। उन्होंने बताया कि हीट स्ट्रोक के प्रबंधन के लिए एम्बुलेंस एवं टेको तकनीक के उपयोग के माध्यम से इलाज के प्रशिक्षण दिए गए हैं। इस संबंध में आवश्यक जानकारी प्रदान करने के लिए एक ट्रेनिंग वीडियो भी जारी किया गया है। 

वीसी में अतिरिक्त निदेशक चिकित्सा प्रशासन डॉ. एस.के. परमार, डॉ. राजेश शर्मा, डॉ. आर.एन.मीणा सहित संबंधित अधिकारीगण उपस्थित थे।