भोपाल । मध्यप्रदेश के चार संभागों में तेज बारिश के आसार बन रहे हैं। मध्यप्रदेश में दक्षिण-पश्चिम मानसून सक्रिय है। मानसून द्रोणिका वर्तमान में बीकानेर, दोसा, ग्वालियर, सीधी, अंबिकापुर, बालेश्वर से होते हुए बंगाल की खाड़ी तक बनी हुई है। इसके अतिरिक्त अलग-अलग स्थानों पर चार मौसम प्रणालियां सक्रिय हैं। मौसम विभाग के अनुसार, वर्तमान में मध्य प्रदेश के मौसम को प्रभावित करने वाली कोई विशेष मौसम प्रणाली सक्रिय नहीं है। इस वजह से प्रदेश में कहीं भी तेज वर्षा होने की संभावना नहीं है। हालांकि, नमी बरकरार रहने के कारण बादल बने हुए हैं। मंगलवार को भोपाल, इंदौर, उज्जैन, सागर संभाग के जिलों में कहीं-कहीं वर्षा होने की संभावना है। दो दिन बाद प्रदेश में फिर वर्षा का दौर शुरू होने की संभावना है। पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला ने बताया कि इन मौसम प्रणालियों का विशेष प्रभाव नहीं पड़ने के कारण प्रदेश में वर्षा की गतिविधियों में कमी आ गई है। हालांकि, वातावरण में नमी मौजूद रहने के कारण कहीं-कहीं हल्की वर्षा हो रही है। मंगलवार को भोपाल, इंदौर, उज्जैन एवं सागर संभाग के जिलों में कहीं-कहीं तेज बौछारें पड़ने की संभावना है। उधर, उत्तर प्रदेश पर बने चक्रवात के एक- दो दिन में मप्र में प्रवेश करने की संभावना है। उसके असर से प्रदेश में फिर वर्षा का सिलसिला शुरू हो सकता है। मौसम विज्ञान केंद्र से मिली जानकारी के मुताबिक वर्तमान में मानसून ट्रफ लाइन ग्वालियर, सीधी से होकर गुजर रही है। दक्षिणी उत्तर प्रदेश के मध्य में हवा के ऊपरी भाग में एक चक्रवात बना हुआ है। बंगाल की खाड़ी के दक्षिणी भाग में हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात में बना हुआ है। महाराष्ट्र के तट से केरल के तट तक एक अपतटीय ट्रफलाइन बनी हुई है।